21 September: श्री रामलला के अलौकिक श्रृंगार का भव्य दर्शन..

श्री रामलला के दिव्य श्रृंगार का अद्भुत नजारा, जो आस्था और भक्ति से भरा हुआ है। इस विशेष दिन पर भक्तों को मिलेगा अलौकिक दर्शन, जो हृदय को स्पर्श कर और भी अधिक श्रद्धा जगाएगा।

सितम्बर 21, 2024 - 07:46
सितम्बर 21, 2024 - 07:47
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21 September: श्री रामलला के अलौकिक श्रृंगार का भव्य दर्शन..

Ayodhya Ramlala Darshan, 21 September: अयोध्या में प्रभु श्री रामलला का प्रतिदिन भव्य श्रृंगार किया जाता है। भगवान के भक्त उन्हें हर दिन नए रूप में दर्शन देते हैं, जबकि उनकी फूलों की माला दिल्ली से मंगाई जाती है।

रामलला की पहली आरती सुबह 6:30 बजे होती है, जिसमें उन्हें जगाने के बाद पूजन की प्रक्रिया शुरू होती है। इसके बाद, उन्हें स्नान कराकर लेप लगाया जाता है और वस्त्र पहनाए जाते हैं।

मौसम के अनुसार, भगवान को अलग-अलग वस्त्र पहनाए जाते हैं; गर्मियों में हल्के सूती कपड़े और सर्दियों में ऊनी स्वेटर।

दोपहर 12 बजे भोग आरती और साढ़े सात बजे संध्या आरती के बाद, रामलला को रात 8:30 बजे शयन कराया जाता है। दर्शन केवल 7:30 बजे तक ही संभव हैं।

रामलला को चार बार भोग अर्पित किया जाता है, जिसमें हर समय के अनुसार अलग-अलग व्यंजन होते हैं। ये व्यंजन राम मंदिर की रसोई में तैयार होते हैं, और सुबह की शुरुआत बाल भोग से होती है।

इस अवसर पर, अश्विन मास के कृष्णपक्ष की चतुर्थी तिथि विक्रम संवत 2081 (21 सितंबर, शनिवार) को श्री राम जन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र अयोध्या धाम में ब्रह्मांड के नायक श्री रामलला का दिव्य श्रृंगार हुआ।



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